जॉन लेनन, पॉल मक्कार्टनी, जॉर्ज हैरिसन, रिंगो स्टार – क्या आज से ५०० साल बाद, एक आम इंसान रॉक म्यूजिक के बैंड ‘द बीटल्स’ के सदस्यों का नाम से वाकिफ होगा? शायद ये सवाल इतना अटपटा भी नहीं है। ये तो हक़िकत है कि आज एक सत्रह साल का युवक बीटल्स के गानों को सुन के ठीक उसी तरह झूमता है, जिस तरह ६० साल पहले उसके दादा-दादी इन्हीं गानों को सुन के झूमा करते थे। महज २५ साल के उम्र में इंग्लैंड के लिवरपूल शहर के ये चार लड़के शायद इतनी शोहरत और धन-दौलत को संभाल नहीं पा रहे थे और चैन व तठस्थता की खोज ने उनको हिन्दू धर्म और अध्यात्म की ओर खींचा। वे महर्षि महेश योगी के निमंत्रण पर उनके ऋषिकेश स्थित आश्रम गए। आश्रम मैं क्या हुआ इसका विवरण मिलेगा आपको अजोय बोस की पुस्तक ‘अक्रॉस द यूनिवर्स: द बीटल्स इन इंडिया’ में। सुनिए अजोय के साथ बीटल्स और महर्षि महेश योगी पर एक दिलचस्प चर्चा।
अजोय बोस द्वारा लिखी गईं पुस्तकें —
अक्रॉस द यूनिवर्स – द बीटल्स इन इंडिया
फॉर रीज़न्स ऑफ़ स्टेट – डेल्ही अंडर एमर्जेन्सी
अजोय बोस द्वारा निर्देशित बीटल्स पर फिल्म –